सर्दियों के मौसम का आगाज हो चुका है। ऐसे में सर्दी का मौसम शुरू होते ही दिल्ली के अस्पतालों में दिल से जुड़ी बीमारी के मरीजों में 15-20 फीसदी का इजाफा देखने को मिल रहा है। कोरोना काल में डॉक्टर दिल की बीमारी से ग्रसित मरीजों को ज्यादा सावधानी बरतने के लिए कह रहे है। खासतौर पर जो लोग हायपर टेंशन और डायबिटीज से जुड़ी समस्या से जूझ रहे हैं। उन्हें इस मौसम में बेहद एहतियात बरतने की आवश्यकता है।
डॉक्टरों का कहना है कि हायपर टेंशन और डायबिटीज की बीमारी वाले मरीजों का ज्यादा सावधान रहने की जरूरत है। क्योंकि रक्तचाप इस मौसम में बढ़ता है। अपने डॉक्टर की सलाह पर नियमित तौर पर जांच और दवाओं का सेवन जरूर करें। वरना थोड़ी सी लापरवाही से जान तक जा सकती है। सर्दी में दिल के पंप करने की क्षमता कम हो जाती है। जिससे रक्त का प्रवाह प्रभावित होता है और हार्ट फेल हो जाता है।
प्रदूषण भी हार्ट अटैक की वजह
डॉक्टरों के अनुसार हार्ट अटैक आने के अलग-अलग कारण है। इसमें रक्तचाप का बढ़ना, तापमान में बदलाव होना और बढ़ता प्रदूषण एक मुख्य वजह है। इस वक्त 18 फीसदी मरीज हार्ट अटैक और सीने में दर्द की शिकायत लेकर अस्पताल में उपचार के लिए पहुंच रहे है। साथ ही कोरोना महामारी के डर से काफी मरीज दिल संबंधी बीमारी होने पर उपचार के लिए आने से हिचकिचा रहे है। जबकि उन्हें उपचार के डॉक्टर का रूख करना चाहिए।
हार्ट की बीमारी से बचने के लिए खान-पान का रखें ख्याल
डॉक्टरों का कहना है कि इस मौसम में जिन्हें रक्तचाप संबंधी दिक्कत है उन्हें खान-पान में सावधानी बरतने की जरूरत है। जिससे उनका रक्तचाप न बढ़ें। खाने में नमक का सेवन ज्यादा न लें। ऋतु फल जरूर खाएं और नियमित तौर पर घर में रहकर एक्सरसाइज करें। धुम्रपान बिल्कुल न करें बल्कि उसके धुएं से भी दूर रहें।